गाजीपुर से एक चौंकाने वाली घटना सामने आई है, जहां एक सब्जी विक्रेता को उसके बैंक खाते में 172.81 करोड़ रुपये के लेन-देन के लिए आयकर विभाग से नोटिस प्राप्त हुआ है। विक्रेता, विनोद रस्तोगी, का कहना है कि उन्हें इस मामले की कोई जानकारी नहीं है। उनका आरोप है कि किसी ने उनके दस्तावेजों का गलत इस्तेमाल कर खाता खोला है।
गहमर के मैगर राव पट्टी के निवासी रस्तोगी को वाराणसी सर्किल से आयकर का नोटिस मिला है। नोटिस में कहा गया है कि यूनियन बैंक में उनके नाम से खोले गए खाते में 172.81 करोड़ रुपये हैं, जिनका टैक्स नहीं भरा गया है। नोटिस मिलने के बाद, रस्तोगी ने आयकर कार्यालय जाकर जानकारी प्राप्त करने की कोशिश की। उन्हें बताया गया कि जिस खाते का जिक्र किया जा रहा है, वह उन्होंने खोला ही नहीं है और न ही उन्होंने इतनी बड़ी राशि का कोई लेन-देन किया है।
आयकर विभाग ने रस्तोगी को आश्वासन दिया है कि तथ्यों की जांच की जाएगी। 26 फरवरी को उन्हें नोटिस मिला था, जिसमें पूछा गया था कि यह राशि कहां से आई है। इस मामले में रस्तोगी ने स्थानीय पुलिस से संपर्क किया, जिसके बाद उन्हें साइबर सेल भेजा गया। साइबर सेल ने रस्तोगी से कुछ दस्तावेज मांगे हैं। बताया जा रहा है कि छह महीने पहले भी उन्हें आयकर विभाग से एक नोटिस मिली थी।
साइबर सेल के प्रभारी वैभव मिश्रा ने कहा कि रस्तोगी उनके कार्यालय में आए थे और आयकर विभाग के नोटिस को दिखाते हुए घटनाक्रम की जानकारी दी। जांच के दौरान रस्तोगी से कुछ दस्तावेज उपलब्ध कराने को कहा गया है। पहले जब उन्हें आयकर से नोटिस मिली थी, तब उन्होंने पुलिस को इसकी जानकारी नहीं दी थी। वहीं, ग्रामीणों का कहना है कि रस्तोगी इस मामले से घबराकर अपने घर में ताला लगाकर कहीं चले गए हैं।