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गौतम गंभीर : बतौर खिलाड़ी जीते 2 विश्व कप खिताब, कोच बनकर भी मनवाया लोहा

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New Delhi, 13 अक्टूबर . बतौर खिलाड़ी भारतीय क्रिकेट टीम को विश्व कप खिताब जिताने के बाद गौतम गंभीर ने कोच के तौर पर भी अपनी गहरी छाप छोड़ी. गौतम गंभीर अपनी रणनीतिक सोच और नेतृत्व क्षमता के लिए जाने जाते हैं. एक कप्तान के तौर पर दो आईपीएल ट्रॉफी जीतने वाले गौतम गंभीर ने कोच के रूप में भी खिताब जीता. गंभीर की कोचिंग में India ने ‘चैंपियंस ट्रॉफी 2025’ और ‘एशिया कप 2025’ के खिताब अपने नाम किए.

गौतम गंभीर की कोचिंग की खासियत उनका आक्रामक लेकिन संतुलित दृष्टिकोण है. वह खिलाड़ियों में आत्मविश्वास जगाने और टीम भावना मजबूत करने पर जोर देते हैं. गंभीर खेल के हर पहलू में अनुशासन, जिम्मेदारी और मानसिक मजबूती को प्राथमिकता देते नजर आए हैं. उनकी रणनीति स्थिति अनुसार होती है.

14 अक्टूबर 1981 को दिल्ली के कारोबारी परिवार में जन्मे गौतम गंभीर को घरेलू क्रिकेट में शानदार प्रदर्शन के बाद भारतीय टीम में मौका मिला. उन्होंने India की ओर से 58 टेस्ट, 147 वनडे और 37 टी20 मैच खेले, जिसमें कुल 20 शतक जमाए. इस दौरान 10,324 रन अपने नाम किए.

गौतम गंभीर लगातार पांच टेस्ट मुकाबलों में शतक जमा चुके हैं. यह कारनामा उन्होंने साल 2006 में किया था.

गौतम गंभीर ने India को टी20 विश्व कप 2007 और वनडे विश्व कप 2011 का खिताब जिताने में अहम भूमिका निभाई.

साल 2007 में Pakistan के खिलाफ टी20 विश्व कप फाइनल में 54 गेंदों में 2 छक्कों और 8 चौकों के साथ 75 रन बनाने वाले गंभीर ने विश्व कप 2011 के फाइनल में श्रीलंका के विरुद्ध 97 रन की अहम पारी खेली थी.

आईपीएल करियर की बात करें, तो गौतम गंभीर ने बतौर कप्तान कोलकाता नाइट राइडर्स (केकेआर) को साल 2012 और 2014 में आईपीएल खिताब जिताया. इसके साथ उन्होंने अपनी रणनीतिक सोच और नेतृत्व क्षमता का लोहा मनवाया.

इसके बाद कोच के तौर पर केकेआर से जुड़कर टीम में नई ऊर्जा और जीत की मानसिकता भरने का काम किया. साल 2024 में मेंटॉर के तौर पर गौतम गंभीर ने केकेआर को आईपीएल खिताब जिताया.

साल 2024 में गौतम गंभीर को भारतीय क्रिकेट टीम का हेड कोच नियुक्त किया गया. उनकी कोचिंग में India ने साल 2025 में चैंपियंस ट्रॉफी जीतने के बाद एशिया कप का खिताब भी अपने नाम किया.

गौतम गंभीर के मार्गदर्शन में टीम ने आक्रामक और संतुलित क्रिकेट खेला. बतौर कोच, उन्होंने युवा खिलाड़ियों को मौका देकर टीम में नई ऊर्जा भरी और खिलाड़ियों में विजयी मानसिकता विकसित की, जिससे भारतीय टीम का प्रदर्शन निखरा है.

आरएसजी/एएस

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