नई दिल्ली, 20 जून . भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता मुख्तार अब्बास नकवी ने कहा कि योग देश, धर्म और मजहब की सीमाओं से परे है. यह मानवता की सेहत और सलामती के लिए एक अनमोल उपहार है.
उन्होंने बताया कि महर्षि पतंजलि का सपना था कि योग दुनिया भर में स्वास्थ्य का उत्सव बने. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के प्रयासों से 2014 में संयुक्त राष्ट्र (यूएन) ने 21 जून को अंतरराष्ट्रीय योग दिवस के रूप में मान्यता दी. आज यह दिन पूरी दुनिया में उत्साह और जुनून के साथ मनाया जाता है.
नकवी ने कहा, “योग एक ऐसा त्योहार है, जो हर जाति, धर्म, क्षेत्र और देश के लोगों को जोड़ता है. यह तंदुरुस्ती का उत्सव है, जिसे पूरे संकल्प और जज्बे के साथ मनाया जाता है.”
उन्होंने अफसोस जताया कि कुछ लोग इस स्वास्थ्य उत्सव में भी राजनीति करने की कोशिश करते हैं. ऐसे लोगों का मानसिक तनाव भी योग से ही ठीक हो सकता है.
मुख्तार अब्बास नकवी ने जोर देकर कहा कि योग पर न तो सियासत होनी चाहिए और न ही इसे सांप्रदायिक रंग देना चाहिए.
उन्होंने योग को मानवता की सेहत का सुनहरा खजाना बताया और कहा कि यह हर व्यक्ति के लिए फायदेमंद है.
उन्होंने बताया कि वे 21 जून को रामपुर के रोशन बाग में आयोजित योग शिविर में हिस्सा लेंगे, जहां समाज के सभी वर्गों के लोग एक साथ योग करेंगे.
मुख्तार अब्बास नकवी ने कहा कि योग दिवस के अवसर पर देश और दुनिया के हर कोने में लोग योग के प्रति अपनी प्रतिबद्धता दिखाएंगे. योग केवल शारीरिक व्यायाम नहीं, बल्कि मानसिक और आध्यात्मिक स्वास्थ्य को बढ़ाने का साधन है. यह हमें स्वस्थ, शांत और मजबूत बनाता है.
उन्होंने लोगों से अपील की कि वे इस अवसर पर योग को अपनी दिनचर्या का हिस्सा बनाएं और इसे सियासत से दूर रखें. छत्तीसगढ़, बिहार और उत्तर प्रदेश जैसे राज्यों में योग दिवस के लिए व्यापक तैयारियां चल रही हैं.
उन्होंने कहा कि यह दिन भारत की प्राचीन धरोहर को दुनिया तक पहुंचाने का अवसर है. हमें गर्व है कि योग आज वैश्विक स्तर पर स्वीकार्य हो चुका है.
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एसएचके/जीकेटी
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