मुंबई : पिछले 9 साल से अटके विरार-अलीबाग कॉरिडोर का निर्माण कार्य जल्द शुरू होने वाला है। 126 किमी लंबे सड़क प्रॉजेक्ट का काम शुरू करने के लिए महाराष्ट्र राज्य सड़क विकास निगम (एमएसआरडीसी) ने एक बार फिर टेंडर आमंत्रित करने की प्रक्रिया की शुरुआत कर दी है। सरकार से हरी झंडी मिलते ही जल्द ही टेंडर आमंत्रित किया जाएगा। पिछले महीने प्रॉजेक्ट के पहले फेज का निर्माण बिल्ड ऑपरेट एंड ट्रांसफर (बीओटी) के तहत करने क एमएसआरडीसी के प्रस्ताव को सरकारी मंजूरी मिल गई थी। सरकार से हरी झंडी मिलने के बाद निगम ने अगला कदम बढ़ा दिया है।
बीओटी के अंर्तगत प्रॉजेक्ट करने की रिपोर्ट निगम ने सरकार के पास भेज दी है। रिपोर्ट को मंजूरी मिलते ही विरार अलीबाग कॉरिडोर का निर्माण बीओटी के तर्ज पर करने के लिए टेंडर आमंत्रित किया जाएगा। इस प्रोजेक्ट की खास बात है कि विरार और अलीबाग के बीच यात्रा समय को 4 घंटे से घटकर लगभग 90 मिनट हो जाएगा।
प्राइवेट कंपनी करेगी निर्माणएमएसआरडीसी के वरिष्ठ अधिकारी के अनुसार, बीओटी के तहत टेंडर तैयार करने का काम तकरीबन पूरा कर लिया गया है। जल्द ही सरकार की तरफ से रिपोर्ट को मंजूरी मिलने की उम्मीद है। ओबीटी के तहत प्रॉजेक्ट का पूरा खर्च सरकार के बजाए निजी कंपनी करेगी। प्रॉजेक्ट पूरा होने के बाद टोल से खर्च की लागत वसूल होने पर सड़क सरकार को सौंप दी जाएगी।
पहली बार 2016 में बना था डीपीआर2016 में पहली बार प्रॉजेक्ट का डीपीआर तैयार किया गया था। प्रॉजेक्ट के लिए कई बार टेंडर भी आमंत्रित किया गया था, लेकिन किसी कंपनी के रुचि नहीं दिखाई। वहीं कुछ महीने पहले आमंत्रित टेंडर पर कंपनियों ने 36 फीसदी अधिक को बोली लगाई थी। इस समस्या से निपटने के लिए एमएसआरडीसी ने प्रॉजेक्ट का निर्माण बीओटी के तर्ज पर करने का निर्णय लिया है। जमीन अधिग्रहण की प्रक्रिया को भी गति देने के लिए सरकार ने 2 हजार करोड़ रुपये बैंक गारंटी देने का निर्णय लिया है। ह रकम प्रॉजेक्ट के लिए जमीन हासिल रने के लिए खर्च होगी।
दो फेज में होना है निर्माण कार्य126 किमी लंबे कॉरिडोर का निर्माण कार्य दो फेज में होना है। पहले फेज तहत पालघर के नवघर से पेण के बलावली के बीच 96.410 किमी का र्ग बनना है। इस सड़क के तैयार होने से एमएमआर के किसी भी हिस्से घंटे के बजाए मिनटों में पहुंचना संभव होगा। क्योंकि इस सड़क को एनपीटी, नई मुंबई एयरपोर्ट, मुंबई-अहमदाबाद, मुंबई-नाशिक, मुंबई-पुणे एक्सप्रेस वे, मुंबई-गोवा हाइवे, पनवेल-जेएनपीटी और अटल सेतु से कनेक्ट किया जाएगा।
बीओटी के अंर्तगत प्रॉजेक्ट करने की रिपोर्ट निगम ने सरकार के पास भेज दी है। रिपोर्ट को मंजूरी मिलते ही विरार अलीबाग कॉरिडोर का निर्माण बीओटी के तर्ज पर करने के लिए टेंडर आमंत्रित किया जाएगा। इस प्रोजेक्ट की खास बात है कि विरार और अलीबाग के बीच यात्रा समय को 4 घंटे से घटकर लगभग 90 मिनट हो जाएगा।
प्राइवेट कंपनी करेगी निर्माणएमएसआरडीसी के वरिष्ठ अधिकारी के अनुसार, बीओटी के तहत टेंडर तैयार करने का काम तकरीबन पूरा कर लिया गया है। जल्द ही सरकार की तरफ से रिपोर्ट को मंजूरी मिलने की उम्मीद है। ओबीटी के तहत प्रॉजेक्ट का पूरा खर्च सरकार के बजाए निजी कंपनी करेगी। प्रॉजेक्ट पूरा होने के बाद टोल से खर्च की लागत वसूल होने पर सड़क सरकार को सौंप दी जाएगी।
पहली बार 2016 में बना था डीपीआर2016 में पहली बार प्रॉजेक्ट का डीपीआर तैयार किया गया था। प्रॉजेक्ट के लिए कई बार टेंडर भी आमंत्रित किया गया था, लेकिन किसी कंपनी के रुचि नहीं दिखाई। वहीं कुछ महीने पहले आमंत्रित टेंडर पर कंपनियों ने 36 फीसदी अधिक को बोली लगाई थी। इस समस्या से निपटने के लिए एमएसआरडीसी ने प्रॉजेक्ट का निर्माण बीओटी के तर्ज पर करने का निर्णय लिया है। जमीन अधिग्रहण की प्रक्रिया को भी गति देने के लिए सरकार ने 2 हजार करोड़ रुपये बैंक गारंटी देने का निर्णय लिया है। ह रकम प्रॉजेक्ट के लिए जमीन हासिल रने के लिए खर्च होगी।
दो फेज में होना है निर्माण कार्य126 किमी लंबे कॉरिडोर का निर्माण कार्य दो फेज में होना है। पहले फेज तहत पालघर के नवघर से पेण के बलावली के बीच 96.410 किमी का र्ग बनना है। इस सड़क के तैयार होने से एमएमआर के किसी भी हिस्से घंटे के बजाए मिनटों में पहुंचना संभव होगा। क्योंकि इस सड़क को एनपीटी, नई मुंबई एयरपोर्ट, मुंबई-अहमदाबाद, मुंबई-नाशिक, मुंबई-पुणे एक्सप्रेस वे, मुंबई-गोवा हाइवे, पनवेल-जेएनपीटी और अटल सेतु से कनेक्ट किया जाएगा।
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